मटका कुल्फी, जिसे अक्सर "भारतीय आइसक्रीम" कहा जाता है, अपने गाढ़े और मलाईदार स्वाद के लिए जानी जाती है। यह सामान्य आइसक्रीम से थोड़ी अलग होती है क्योंकि इसमें अंडे का इस्तेमाल नहीं होता और इसे धीमी आंच पर दूध को तब तक पका कर बनाया जाता है जब तक वह गाढ़ा होकर रबड़ी जैसा न हो जाए। मिट्टी के छोटे मटकों (जिन्हें कुलहड़ भी कहते हैं) में इसे जमाना इसे एक खास मिट्टी की खुशबू और स्वाद देता है, जो इसे और भी खास बना देता है।
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मटका कुल्फी |
सामग्री:
मटका कुल्फी बनाने के लिए आपको बहुत फैंसी सामग्री की ज़रूरत नहीं होती। ये सभी चीज़ें आपकी रसोई में या किसी भी किराने की दुकान पर आसानी से मिल जाएंगी:
- दूध: 1 लीटर (फुल-फैट दूध सबसे अच्छा रहता है, इससे कुल्फी ज़्यादा क्रीमी बनती है)
- चीनी: 1/2 से 3/4 कप (अपने स्वाद के अनुसार समायोजित करें)
- मिल्क पाउडर: 2 बड़े चम्मच (यह कुल्फी को गाढ़ा करने और उसमें अतिरिक्त मलाईदारपन लाने में मदद करता है)
- इलायची पाउडर: 1/2 छोटा चम्मच
- केसर के धागे: कुछ (गरम दूध में भिगो दें, इससे रंग और खुशबू दोनों अच्छी आती हैं)
- बारीक कटे हुए मेवे: 2-3 बड़े चम्मच (बादाम, पिस्ता, काजू - अपनी पसंद के अनुसार)
- वैकल्पिक सामग्री:
- कंडेंस्ड मिल्क: 1/2 कप (अगर आप कुल्फी को और ज़्यादा मीठा और गाढ़ा बनाना चाहते हैं)
- ताज़ी क्रीम: 1/4 कप (अतिरिक्त मलाईदारपन के लिए)
बनाने की विधि:
मटका कुल्फी बनाना थोड़ा धैर्य का काम है, लेकिन इसका परिणाम यकीनन आपकी मेहनत को सार्थक कर देगा!
- दूध उबालें: एक भारी तले वाले पैन या कड़ाही में दूध डालें। तेज़ आंच पर इसे एक उबाल आने दें।
- धीमी आंच पर पकाएं: दूध में उबाल आने के बाद, आंच धीमी कर दें और दूध को लगातार चलाते हुए पकाते रहें। आपको दूध को तब तक पकाना है जब तक वह अपनी मूल मात्रा का लगभग आधा या एक तिहाई न रह जाए। इस प्रक्रिया में 30-45 मिनट या उससे ज़्यादा भी लग सकते हैं।
- मलाई खुरचें: जब दूध पक रहा हो, तो किनारों पर जमने वाली मलाई को खुरच कर दूध में ही मिलाते रहें। यही मलाई कुल्फी को उसका खास दानेदार और मलाईदार टेक्सचर देगी।
- सामग्री मिलाएं: जब दूध पर्याप्त गाढ़ा हो जाए, तो इसमें चीनी, मिल्क पाउडर, इलायची पाउडर और केसर वाला दूध (अगर इस्तेमाल कर रहे हैं) डालें। अच्छी तरह मिलाएं और 5-7 मिनट और पकाएं जब तक चीनी घुल न जाए और मिश्रण थोड़ा और गाढ़ा न हो जाए।
- मेवे डालें: अब इसमें बारीक कटे हुए मेवे डालें और अच्छी तरह मिलाएं।
- ठंडा करें: आंच बंद कर दें और कुल्फी के मिश्रण को पूरी तरह से ठंडा होने दें। बीच-बीच में चलाते रहें ताकि ऊपर पपड़ी न जमे।
- मटकों में भरें: जब मिश्रण पूरी तरह से ठंडा हो जाए, तो इसे छोटे मिट्टी के मटकों या कुल्फी मोल्ड्स में भर दें।
- फ्रिज में सेट करें: मटकों को एल्यूमीनियम फॉयल या क्लिंग फिल्म से कसकर ढक दें। इसे कम से कम 6-8 घंटे या रात भर के लिए फ्रीजर में सेट होने के लिए रख दें।
- परोसें: कुल्फी सेट होने के बाद, मटकों को फ्रीजर से निकालें और सीधे परोसें। आप चाहें तो ऊपर से थोड़े और मेवे डालकर इसे सजा सकते हैं।
कुछ खास टिप्स:
- फुल-फैट दूध: सबसे अच्छी और मलाईदार कुल्फी के लिए हमेशा फुल-फैट दूध का ही इस्तेमाल करें।
- धीमी आंच और धैर्य: दूध को धीमी आंच पर ही पकाएं और लगातार चलाते रहें ताकि वह जले नहीं और पैन के तले में चिपके नहीं। यही धैर्य आपको बेहतरीन स्वाद देगा।
- मिट्टी के बर्तन: अगर आपके पास मिट्टी के मटके (कुलहड़) हैं, तो उनका इस्तेमाल ज़रूर करें। ये कुल्फी को एक अनोखी मिट्टी की खुशबू देते हैं।
- मीठापन: अपनी पसंद के अनुसार चीनी की मात्रा को कम या ज़्यादा कर सकते हैं।
- फ्लेवर वेरिएशन: आप अपनी कुल्फी में रोज़ वॉटर (गुलाब जल) या केवड़ा एसेंस भी मिला सकते हैं, इससे एक अलग ही खुशबू आती है। मैंगो कुल्फी या पिस्ता कुल्फी बनाने के लिए आप दूध के मिश्रण में आम का गूदा या पिस्ता पेस्ट भी मिला सकते हैं।
मटका कुल्फी सिर्फ एक डेजर्ट नहीं है, यह एक अनुभव है। इसकी तैयारी में लगा समय और मेहनत, इसके लाजवाब स्वाद के आगे कुछ भी नहीं! तो इस गरमी, अपनी रसोई में यह पारंपरिक मटका कुल्फी ज़रूर बनाएं और अपने परिवार और दोस्तों के साथ इसका आनंद लें।
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